RBSE Solutions for Class 10 English Literature Reader Poem Chapter 2 My Good Right Hand are part of RBSE Solutions for Class 10 English. Here we have given Rajasthan Board RBSE Class 10 English Solutions Literature Reader Poem Chapter 2 My Good Right Hand.
Board | RBSE |
Textbook | SIERT, Rajasthan |
Class | Class 10 |
Subject | English |
Chapter | Chapter 2 |
Chapter Name | My Good Right Hand |
Number of Questions Solved | 23 |
Category | RBSE Solutions |
Rajasthan Board RBSE Class 10 English Literature Poem Chapter 2 My Good Right Hand
Activity 1: Comprehension
A. Tick the correct alternative:
- What is the meaning of word “sought”?
(a) sadness
(b) tried to find
(c) advice
(d) without success - “Let them go”: the word “them” here refers to:
(a) God the Almighty
(b) enemies
(c) friends
(d) None of above
Answers.
- (b),
- (c).
B. Answer the following questions each in 30 – 40 words:
Question 1.
Why did poet fall into grief?
कवि गम में क्यों डूब गया?
Answer.
The poet fell into grief as he was passing through bad days. Misfortune and his poverty were pestering him.In his hour of need none came forward to help him. His friends and acquaintances deserted him leaving him alone to suffer in poverty.
चूँकि कवि के दिन खराब चल रहे थे इसलिए वह गम में डूब गया। दुर्भाग्य एवं गरीबी उसे द्रवित कर रहे थे। जब उसे जरूरत थी, तो कोई भी उसकी सहायता करने नहीं आया। उसके दोस्त तथा संबंधियों ने उसे गरीबी में नितांत अकेला छोड़ दिया।
Question 2.
Why did the poet’s search for a friend prove to be fruitless?
कवि के द्वारा दोस्त की खोज व्यर्थ क्यों हो गई?
Answer.
The poet was passing through adverse circumstances. His poverty led him to fall into grief. Naturally, he needed someone to help him in that hour of need. He began searching for a friend who could stand with him in that hour of difficulties. Unfortunately, his search for a friend proved to be fruitless. No friend came forward to help him in tiding over his misfortune and poverty.
कवि प्रतिकूल परिस्थितियों से गुजर रहा था। गरीबी ने उसे गम में डुबा दिया। स्वाभाविक रूप से, जरूरत के समय उसे किसी की सहायता की आवश्यकता हुई। इन विपरीत परिस्थितियों में साथ देने के लिए उसने एक दोस्त की खोज प्रारंभ की, किंतु दुर्भाग्यवश, उसके दोस्त की खोज व्यर्थ साबित हुई। कोई भी दोस्त उसे दुर्भाग्य तथा गरीबी से उबारने के। लिए सामने नहीं आया।
Question 3.
Who is the friend that could help and make the poet happy?
कौन-सा दोस्त कवि को प्रसन्नचित तथा सहायता कर सका?
Answer.
All his friends proved false. None came forward to help the poet in his hour of need. Then he realized that self-help was the best help. He turned to his ‘good right hand’ for help. His good right hand’ gave him strength to work hard and earn money. When all other friends failed, his good right hand’ came to his help and made him happy.
सभी दोस्त गलत साबित हुए। कवि की जरूरत के समय उसका कोई भी दोस्त सहायता करने के लिए नहीं आया। तब उसने यह महसूस किया कि स्वयं की सहायता सबसे अच्छी सहायता है। उसने अपने ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ से सहायता लेना प्रारंभ कर दिया। उसके उपयोगी दाएँ हाथ’ ने उसे कठिन मेहनत करने तथा पैसा अर्जित करने हेतु सहायता करना प्रारंभ कर दिया। जब उसके सभी दोस्त असफल रहे, तब उसके उपयोगी दाएँ हाथ’ ने उसकी सहायता की तथा उसे प्रसन्नचित्त किया।
Question 4.
Why did the poet feel disappointed?
कवि को निराशा क्यों हुई?
Answer.
The poet was passing through really bad circumstances. Poverty and adversities had made him a broken man. He looked towards his friends for help in this hour of need. His search proved quite futile. Even his acquaintances deserted him. They gave him unwanted counsel but didn’t lend any money to help him. All these circumstances made him a bitter and disappointed man.
कवि वास्तव में बुरी परिस्थितियों से गुजर रहा था। प्रतिकूल परिस्थितियों तथा गरीबी ने उसे तोड़ दिया था। जरूरत के समय उसने सहायता हेतु अपने दोस्तों की तरफ देखा, लेकिन उसकी खोज निरर्थक साबित हुई। यहाँ तक कि उसके संबंधियों ने भी उसे अकेला छोड़ दिया। वे उसे अवांछित सलाह देते रहे, किंतु कोई आर्थिक सहायता नहीं की। इन सभी स्थितियों ने उसे तिक्त तथा निराश आदमी बना दिया।
Question 5.
What was the result of the poet’s hard work?
कवि के कठिन परिश्रम का क्या परिणाम निकला?
Answer.
The poet’s hard work proved very much productive and fruitful. His ‘good right hand made him work hard and earn money. His poverty and bad days ended. He earned wealth and respect. All his selfish friends and relatives who had deserted him earlier came back to him one by one.
कवि का कठिन परिश्रम काफी अधिक उत्पादक तथा फलदायी रहा। उसके उपयोगी दाएँ हाथ’ ने उसे कठिन मेहनत तथा मुद्रा अर्जन हेतु प्रेरित किया। उसकी गरीबी तथा बुरे दिन समाप्त हो गए। उसने धन तथा आदर अर्जित किया। उसके सभी स्वार्थी दोस्तों तथा संबंधियों ने जो उसका साथ छोड़कर चले गए। थे, एक के बाद एक वापस लौट आए।
C. Answer the following questions each in 60 words :
Question 1.
How did the poet overcome his sadness?
कवि अपनी उदासी से कैसे उबर पाया?
Answer.
The poet overcame his sadness through self-realization. He realized that self-help is the only help that can change one’s fate. His courage revived. He forgot all about his selfish friends and acquaintances. Reposing faith in them was like building a castle on the sand. He realized that his ‘good right hand’ was his best friend. This realization ended his dejection. His spirit became light and cheerful.He could shape his own fate not by depending on others but depending on his hard work. Reposing faith in god and in his ‘good right hand’ helped him in overcoming his sadness.
कवि अपनी उदासी से अपने आत्म-बोध से मुक्त हो पाया। उसने यह महसूस किया कि स्वयं सहायता एकमात्र ऐसी सहायता है, जो उसके भविष्य को परिवर्तित कर सकती है। उसके साहस को पुनः संचार हुआ। अपने सभी स्वार्थी दोस्तों तथा संबंधियों को भूल गया। उन पर विश्वास करना रेत में महल बनाने के समान था। उसने यह अनुभव किया कि उसका उपयोगी दायाँ हाथ’ ही सबसे अच्छा दोस्त है। इस आत्मबोध ने उसकी उदासी को दूर कर दिया। वह स्फूर्तिवान तथा आनंदित हो उठा। अपने भाग्य को अपनी कठिन मेहनत से सँवार सकता था। उसे दूसरों पर निर्भर रहने की जरूरत नहीं थी। ईश्वर पर आस्था तथा उसके उपयोगी दायाँ हाथ’ ने उसे उदासीनता से उबरने में सहायता प्रदान की।
Question 2.
Why does the poet not need his friends anymore ?
कवि को अब अपने दोस्तों की आवश्यकता क्यों नहीं रही?
Answer.
There came a qualitative change in the attitude of the poet. Earlier he used to look towards his friends in the hour of his need. They deserted him and didn’t rise to the occasion. He learnt a lesson. He realized that his ‘good right hand’ was his best friend. Only his hard work and honest labor could change his fate and overcome his poverty. Things changed for the better. He became prosperous and rich. He didn’t need his selfish friends anymore. On the other hand, when he became prosperous, all his friends who had deserted him, came back to him one by one. But time had changed and he didn’t need their help anymore.
कवि के दृष्टिकोण में गुणात्मक परिवर्तन आया। पूर्व में वह आवश्यकता के समय अपने दोस्तों की तरफ देखता था। उन्होंने उसे अकेला छोड़ दिया। आवश्यकता के समय वे काम नहीं आए। उसने यह महसूस किया कि उसका उपयोगी दायाँ हाथ’ उसका सबसे अच्छा दोस्त है। केवल उसका ईमानदारीपूर्वक किया जाने वाला कठिन परिश्रम ही उसे उसकी गरीबी से उबार सकता है तथा उसके भाग्य का परिवर्तन कर सकता है। अच्छे दिन आने प्रारंभ हो गए। वह समृद्ध तथा धनी हो गया। अब उसे अपने स्वार्थी दोस्तों की कोई आवश्यकता नहीं रही। दूसरी तरफ, जब वह समृद्ध हो गया, तो उसके उन सभी दोस्तों ने जिन्होंने उसे छोड़ दिया था, एक-एक कर उसके पास वापस आ गए। किंतु समय परिवर्तित हो चुका था, उसे अब उनकी सहायता की जरूरत नहीं रह गई थी।
Question 3.
What inspirations do we get from the poem?
इस कविता से हमें क्या प्रेरणा मिलती है?
Answer
C. Mackay’s My Good Right Hand’ is a motivational and inspiring poem. It gives a definite inspiring message to the readers. Self-help is the best help.Our ‘good right hand’ is our best friend. Only through the ‘good right hand we can work hard to change our fate. Our hard work can help us in overcoming our poverty and bad days. Depending on fast friends and acquaintances is like building a castle on the sand. No one comes to help in the hour of our need. Only our faith in God and the ‘good right hand’ can help us to earn money, respect and prosperity.
C. Mackay’s की कविता My Good Right Hand’ एक उत्प्रेरक तथा प्रेरणास्पद कविता है। यह अपने पाठकों को एक निश्चित प्रेरणास्पद संदेश देती है-स्वयं-सहायता सबसे अच्छी सहायता है। हमारा ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ सबसे अच्छा दोस्त है। केवल अपने ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ के द्वारा ही हम कठिन श्रम करके अपने भाग्य को परिवर्तित कर सकते हैं। हमारा कठिन श्रम हमें अपनी गरीबी तथा बुरे दिनों से निजात दिला सकता है। अपने निकटतम मित्रों तथा परिचितों पर निर्भरता रेत में महल बनाने के समान है। हमें आवश्यकता के समय कोई सहायता नहीं करता। केवल ईश्वर के प्रति हमारा विश्वास तथा ‘उपयोगी दायाँ हाथ ही हमें ध नोपार्जन, आदर तथा समृद्धि प्रदान कर सकते हैं।
Question 4.
What does the “Good Right Hand” represent?
‘उपयोगी दायाँ हाथ’ किस बात का प्रतिनिधित्व करता है?
Answer.
C. Mackay’s message is quite symbolical. Here, the ‘Good Right Hand’ represents honest labor and hard work. It represents self-help.It urges us not to depend on others for help in our hour of need. All our friends and acquaintances will prove false. Only the ‘good right hand will come to our help when it is needed. It also means that we can shape our fate only through our efforts. And out of the two hands, the ‘good right hand’ is more dynamically involved in human activities. Through hard work, we can bring name, fame and prosperity. It lies completely in our own hands to shape and change our destiny.
C. Mackay’s का संदेश प्रतीकात्मक है। यहाँ ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ ईमानदार श्रम तथा कठिन मेहनत का प्रतिनिधित्व करता है। यह स्वयं सहायता का भी प्रतीक है। यह इस बात पर बल देता है कि हमें जरूरत के समय किसी दूसरे पर निर्भर नहीं रहना चाहिए। हमारे सभी दोस्त तथा परिचित केवल नकली सहायता प्रदान करेंगे। केवल जरूरत के समय ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ ही सहायता प्रदान करेगा। इसका यह भी मतलब हुआ कि हम अपने भाग्य को केवल अपने प्रयासों से ही सँवार सकते हैं। दोनों हाथों में केवल ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ ही मानवीय क्रियाकलापों में गतिशीलता के साथ संबद्ध है। कठिन श्रम के सकते हैं। हमारे भाग्य को सँवारने तथा परिवर्तित करने में हमारे हाथों का ही पूर्ण योगदान है।
Question 5.
Which are the two things that the poet puts his trust in? Explain.
कवि को किन दो बातों में विश्वास है? वर्णन कीजिए।
Answer.
With his changed attitude, the poet puts his trust only in two things. The first one is God. God gives him strength to overcome dejection and disappointment. The second and the most important thing that the poet puts his trust in is his ‘good right hand’. He realizes that depending on his false friends and relatives is only like building a castle on the sand. His ‘good right hand’ can help him to work hard to earn money. He can overcome his bad days and poverty only by employing his good right hand to the maximum. Only it can help him in earning respect, money and prosperity.
अपने परिवर्तित दृष्टिकोण के साथ कवि केवल दो बातों पर ही विश्वास करता है। पहला ईश्वर है। ईश्वर हमें उदासी तथा नैराश्य से निजात दिलाता है। दूसरा और सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि कवि अपने ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ पर पूरा विश्वास करता है। उसे लगता है। कि अपने छद्म मित्रों तथा संबंधियों पर निर्भरता केवल रेत में महल बनाने के समान है। उसका उपयोगी दायाँ हाथ’ ही उसे कठिन मेहनत तथा धनोपार्जन में मदद कर सकता है। अपने ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ के अधि कतम प्रयोग से ही वह अपनी गरीबी तथा बुरे दिनों से निजात पा सकता है। केवल वही आदर, धन तथा समृद्धि प्रदान करने में उसका सहायक हो सकता है।
Activity 2 : Reference To Context
Explain the following lines with reference to context :
Question 1.
My courage revived ………… again and again.
Answer.
Refer page No. 233, stanza 3, lines 9-12.
Question 2.
The friends who ………… Good Right Hand.
द्वारा ही हम नाम, ख्याति तथा समृद्धि प्राप्त कर
Answer.
Refer page No. 233, stanza 4, lines 13-16.
(Additional Questions And Answers)
A. Answer the following questions not exceeding 30-40 words each:
Question 1.
What is the theme of the poem ‘My Good Right Hand?
‘My Good Right Hand’ कविता का सार क्या है?
Answer.
C. Mackay’s ‘My Good Right Hand’ is a motivational poem. It gives a message of self-help and hard work. There is no short cut to fame and prosperity. Things can be changed. ill luck can be reversed. Good days and brightness can take the place of misfortunes and gloom. All this can be achieved only through our ‘good right hand’. Depending on false friends and acquaintances in life is building a castle on the sand.
‘C. Mackay’ कृत ‘My Good Right Hand’ एक प्रेरणास्पद कविता है। यह स्वयं सहायता तथा कठिन श्रम का संदेश देती है। समृद्धि तथा ख्याति प्राप्त करने का कोई संक्षिप्त रास्ता नहीं है। स्थितियाँ बदल सकती हैं। हमारा भाग्य बदल सकता है। उदासी और दुर्भाग्य के स्थान पर अच्छे दिन तथा प्रसन्नता आ सकती है। ये सभी केवल हमारे उपयोगी दायाँ हाथ’ के बदौलत ही संभव है। नकली दोस्तों तथा परिचितों पर निर्भरता रेत में महल बनाने के समान है।
Question 2.
Describe the ideas and thoughts contained and conveyed by C. Mackay’s ‘My Good Right Hand’.
C. Mackay’s कृत ‘My Good Right Hand’ में अंतर्विष्ट्र तथा व्यक्त किए गए विचारों का वर्णन कीजिए।
Answer.
C. Mackay’s message is symbolical. The poet used the ‘good right hand as a symbol of self-help. This world is full of selfish persons. No one, not even our friends and acquaintances come to our help when we need it.Depending on such false and greedy friends and relatives is like building a castle on the sand. We must repose our trust only in two things. The ‘good right hand and faith in God can help in shaping and changing our destiny.
C. Mackay’s का संदेश प्रतीकात्मक है। कवि ने ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ स्वयं-सहायता के प्रतीक के रूप में प्रयोग किया है। संसार स्वार्थी लोगों से भरा पड़ा है। कोई भी व्यक्ति, चाहे वो हमारा दोस्त हो अथवा परिचित, हमारी सहायता के लिए नहीं आता, जब हमें उसकी आवश्यकता होती है। इस तरह के नकली तथा लालची दोस्तों तथा संबंधियों पर निर्भरता रेत पर महल बनाने के समान है। हमें केवल दो चीजों पर विश्वास करनी चाहिए। ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ तथा. ईश्वर में विश्वास हमारे भाग्य में परिवर्तन ला सकते हैं तथा इसे सँवार सकते हैं।
Question 3.
How does the poet use the good right hand’ as a symbol and in what sense?
कवि जिन अर्थों में उपयोगी दायाँ हाथ’ को एक प्रतीक के रूप में प्रयोग करता है?
Answer.
C. Mackay used the ‘Good Right Hand’ as a very effective symbol. It is a symbol of honest, hard work and diligence. Our destiny is in our hands.Out of the two hands we have, the good right hand is more active and dynamic. We can work hard to gain strength, fortune and prosperity. The ‘good right hand’ is a symbol of self help and sufficiency.
C. Mackay’s ने ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ को बड़े ही प्रभावकारी प्रतीक के रूप में प्रयोग किया है। यह ईमानदारी, कठिन मेहनत, तथा अध्यवसाय का प्रतीक है। हमारा भाग्य हमारे हाथ में है। जो हमारे पास दो हाथ हैं उनमें उपयोगी दायाँ हाथ’ ज्यादा सक्रिय तथा गतिशील है। हम अपनी शक्ति, सौभाग्य तथा समृद्धि को प्राप्त करने के लिए कठिन मेहनत कर सकते हैं। ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ स्वयं सहायता तथा पर्याप्तता का प्रतीक है।
Question 4.
Why does the poet fall into grief and complain?
कवि गमों में क्यों डूब गया तथा क्यों शिकायत की?
Answer.
The unfortunate poet is passing through his bad days. Poverty and misfortune have made him a broken man. He looked towards friends and acquaintances for help. His selfish friends deserted him. His acquaintances only gave him good counsel and didn’t lend him any money. Poverty and misfortune made him a lonely and sad man. He fell into grief and started cursing his fate and stars.
दुर्भाग्यशाली कवि अपने बुरे दिनों से गुजर रहा है। गरीबी तथा दुर्भाग्य ने उसे तोड़कर रख दिया। उसने अपने दोस्तों तथा परिचितों की तरफ सहायता हेतु देखा। उसके स्वार्थी मित्रों ने उसे अकेला छोड़ दिया। उसके परिचितों ने उसे केवल सलाह दी और उसे मौद्रिक सहायता नहीं दी। गरीबी तथा दुर्भाग्य ने उसे नितांत अकेला तथा उदास बना दिया। वह गमों में डब गया तथा इसका दोषारोपण अपने भाग्य तथा ग्रह-नक्षत्रों पर करने लगा।
Question 5.
What was the role of the poet’s friends and acquaintances when he needed active help from them?
जब कवि को अपने दोस्तों तथा परिचितों की आवश्यकता महसूस हुई, तो उनकी भूमिका क्या थी?
Answer.
The poet fell on his bad days. Poverty and misfortune led him to look towards his friends and acquaintances for help. Unfortunately, no one came to his help in his hour of need. His friends deserted him and proved selfish and false. His acquaintances proved no better. They only fed the poet on good counsel. They feared to lend him their money to help him in overcoming his poverty and misfortune.
कवि बुरे दिनों से गुजर रहा था। गरीबी तथा दुर्भाग्य ने उसे अपने परिचितों तथा दोस्तों की तरफ देखने को विवश किया। दुर्भाग्यवश, कोई भी उसकी सहायता के लिए जरूरत के समय नहीं आया। उसके दोस्तों ने उसे अकेला छोड़ दिया तथा स्वार्थी एवं नकली भावना का प्रदर्शन किया। उसके परिचितों ने भी कोई अच्छा व्यवहार नहीं किया। वे कवि को केवल सुझाव देते रहे। वो उसकी गरीबी तथा दुर्भाग्य से उबारने के लिए उसे मौद्रिक सहायता करने से बचते रहे।
Question 6.
“Let them go.” Why did the poet say so and with what result?
“उन्हें जाने दो।” कवि ने ऐसा क्यों कहा तथा इसका परिणाम क्या हुआ?
Answer.
Everyone proved false to the poet. He expected his friends and relatives to help him in his hour of need. They could have helped him in overcoming poverty and his bad luck. But nothing of this kind happened. His friends deserted him. His acquaintances gave him no money and help. They only gave good counsel but no concrete monetary help. Hence, he took the decision of his life. He decided to forget about his friends and acquaintances and depend on his ‘good right hand’ for self-help and sufficiency.
कवि की नजर में सभी नकली सिद्ध हुए। वह अपने दोस्तों तथा संबंधियों से जरूरत के समय सहायता की अपेक्षा करता था। वे उसकी गरीबी तथा दुर्भाग्य से निजात पाने के लिए उसकी मदद कर सकते थे। लेकिन ऐसा कुछ भी नहीं हुआ। उसके परिचितों ने न तो उसकी कोई सहायता की और न ही कोई मौद्रिक सहायता प्रदान किया। केवल उन लोगों ने अपनी सलाह दी, कोई ठोस मौद्रिक सहायता नहीं प्रदान किया। अतः उसने अपनी जिंदगी का निर्णय ले लिया। उसने अपने दोस्तों तथा परिचितों को भुला दिया तथा अपने ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ पर स्व-सहायता तथा पर्याप्तता के लिए पूरी तरह से निर्भर हो गया।
Question 7.
How depending on friends and acquaintances is like building a castle on the sand? Give a reasoned answer.
मित्रों तथा परिचितों पर निर्भरता रेत पर महल बनाने के समान किस प्रकार से है? तर्कपूर्ण उत्तर दीजिए।
Answer.
Generally we suffer from self delusions. We hope that our friends and acquaintance will help us in the hour of our need. However, we are far removed from the harsh realities of life. Depending on friends and relatives is like building a castle on the sand. They are insensitive as well as selfish. They will desert you in hour of our need. They can feed us on empty sermons but will not lend any money or render any concrete help.
आमतौर पर हम विभ्रम की स्थिति में होते हैं। हम ऐसी आशा करते हैं कि हमारे दोस्त तथा परिचित जरूरत के समय हमारी मदद करेंगे। यद्यपि हम अपने जीवन की कठोर सच्चाइयों से काफी दूर होते हैं। दोस्तों तथा परिचितों पर निर्भरता रेत पर महल बनाने के समान है। वे असंवेदनशील होने के साथ-साथ स्वार्थी भी हैं। वे आपको जरूरत के समय अकेले छोड़कर भाग जाएँगे। वे आपको कोरे प्रवचन सुनाएँगे, किंतु किसी ठोस सहायता के लिए कोई मौद्रिक सहायता नहीं करेंगे।
Question 8.
How did the poet’s courage revive in spite of his misfortune and bad luck?
अपने दुर्भाग्य और विपत्ति के बावजूद कवि का साहस किस प्रकार से पुनर्जीवित हुआ?
Answer.
The poet was passing through a very trying and testing period of his life. He needed help to overcome his poverty and bad-luck. However, his friends and acquaintances deserted him and provided no concrete help. In spite of his bad time in which he was passing through, he gained courage. He realized that self-help is the best help. His good right hand’ can be an effective instrument to gain money and prosperity.
कवि अपने जीवन की सबसे कठिन घड़ी से गुजर रहा था। उसे अपनी गरीबी तथा बुरे दिनों से छुटकारा पाने के लिए मदद की आवश्यकता थी। फिर भी, उसके मित्रों तथा परिचितों ने उसे अकेला छोड़ दिया तथा कोई ठोस सहायता नहीं की। अपने बुरे दिनों के बावजूद, जिससे वह गुजर रहा था, उसमें साहस का संचार हुआ। उसने यह जाना कि स्वयं सहायता सबसे अच्छी सहायता है। उसका उपयोगी दायाँ हाथ’ धन तथा समृद्धि को प्राप्त करने की दिशा में एक प्रभावकारी अस्त्र है।
Question 9.
What raised the poet from sorrow and saved him from pain? How?
किसने कवि को दुख और पीड़ा से निजात दिलाया?
Answer.
When the poet started trusting in his ‘good right hand’, his fate was changed. He was no more a helpless person drowned into grief. Nor did he curse his fate and stars. His ‘good right hand’ brought him good luck and fortune. It raised him above the mire of poverty and bad days. It raised him from sorrows. He became confident and cheerful. His ‘good right hand’ saved him from miseries and pain.
जब कवि ने अपने उपयोगी दायाँ हाथ’ पर विश्वास करना प्रारंभ कर दिया, तब उसके भाग्य ने पलटा खाया। अब वह दुखों में डूबा एक असहाय व्यक्ति नहीं रहा। अब उसने अपने भाग्य तथा ग्रह-नक्षत्रों को कोसना भी बंद कर दिया। ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ ने उसका सौभाग्य तथा अच्छे दिन लौटाए। इसने उसे दरिद्रता के दलदल से निकाला तथा बुरे दिनों से निजात दिलाई। इसने उसे दुखों से उबारा। वह आत्मविश्वासी तथा प्रसन्नचित रहने लगा। उसके उपयोगी दायाँ हाथ’ ने उसे दुख-तकलीफों से रक्षा की।
Question 10.
Who fed and clothed the poet again and again and how?
कवि को किसने बारंबार खाना और भोजन प्रदान किया?
Answer.
The poet stopped dependence on false friends and acquaintances. His courage revived and he believed only in two things. He reposed his trust in God and in his ‘good right hand’. Hard work and honest labor brought a dramatic change in his life. He depended on his right hand and it helped him to earn money and became prosperous. Now he could feed and clothe himself without any difficulty. Poverty and misfortune never troubled him.
कवि ने नकली दोस्तों तथा परिचितों पर निर्भरता बंद कर दिया। उसके साहस का पुनर्जीवन हुआ तथा उसने केवल दो चीजों पर भी विश्वास करना प्रारंभ किया। उसने ईश्वर तथा अपने ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ पर विश्वास किया। कठिन तथा ईमानदार श्रम ने उसके जीवन में नाटकीय परिवर्तन लाया। वह अपने ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ पर निर्भर हो गया तथा इसने उसे धनोपार्जन करने तथा समृद्ध बनाने में मदद किया। अब वह स्वयं के लिए भोजन और वस्त्र बिना किसी कठिनाई के अर्जित कर पाने में सक्षम था। गरीबी और दुर्भाग्य अब उसे कभी परेशान नहीं करते थे।
Question 11.
Why did his friends come back one by one to the poet?
कवि के दोस्त एक-एक करके उसके पास क्यों आए?
Answer.
Earlier all his friends had deserted him, in his hour of need. They proved selfish and unreliable. When he started having faith only in God and his ‘good right hand’, he ignored his fair-weather friends. But his selfish and shameless friends came back to him again when he earned money and fortune.
इसके पूर्व, उसके सभी दोस्तों ने जरूरत के समय उसे अकेला छोड़ दिया था। वे स्वार्थी तथा अविश्वसनीय सिद्ध हुए। जब उसने केवल ईश्वर तथा अपने ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ पर भरोसा करना प्रारंभ किया, तो उसने अपने अवसरवादी दोस्तों से किनारा कर लिया। किंतु उसके स्वार्थी तथा निर्लज्ज मित्र उसके द्वारा धन तथा ऐश्वर्य अर्जित कर लेने के बाद दुबारा वापस आ गए।
Question 12.
Why and how did his ‘darkest advisers’ look bright as the sun?
क्यों और कैसे उसे नकारात्मक सलाह देने वाले सूर्य की तरह चमकने लगे?
Answer.
Like his fair-weather friends, poet’s acquaintances also proved false and unreliable. They gave only good counsel but no monetary help. But the same selfish people looked cheerful and happy when his fortune changed. They felt cheerful in a hope to get his financial help in their need.
कवि के अवसरवादी मित्रों की तरह ही उसके परिचित भी छद्म और अविश्वसनीय सिद्ध हुए। उन्होंने मौद्रिक सहायता के बजाय केवल कोरे आश्वासन दिए। लेकिन वही स्वार्थी लोग जब उसके भाग्य ने पलटा खाया, तो प्रसन्नचित तथा खुश दिखने लगे। वे इसलिए खुश थे कि कवि के खुशहाल हो जाने से उन्हें भी आवश्यकता पड़ने पर कुछ आर्थिक सहायता मिल जाएगी।
Question 13.
‘I need them no more, as they all understand’, say the poet. Why does he thank and trust his ‘good right hand?
‘मुझे उनकी अब कोई आवश्यकता नहीं, क्योंकि वे सब जानते हैं,’ कवि ने कहा। वह क्यों अपने ‘उपयोगी दायाँ हाथ’ के प्रति विश्वास तथा धन्यवाद प्रकट करता है?
Answer.
With the change of fortune, the poet has attained self sufficiency. He has earned money and status. Now he needs his fair weather friends and acquaintances no more. Even they understand him fully now. They know that he is no more dependent on them. He thanks his ‘good right hand’ that brought a dramatic turn around in his fortunes. It helped him to attain self-sufficiency, self-respect and prosperity.
भाग्य में परिवर्तन होने के साथ ही, कवि ने स्वयं पर्याप्ति प्राप्त कर ली। उसने धन तथा रुतबा भी हासिल कर लिया। अब उसे अपने अवसरवादी दोस्तों तथा परिचितों की आवश्यकता नहीं रह गई। जबकि वे अब उसे अच्छी तरह से समझ गए थे। वे समझ गए थे कि कवि उन पर अब आश्रित नहीं रहा। वह अपने उपयोगी दायाँ हाथ’ को अपने भाग्य में नाटकीय परिवर्तन लाने के लिए धन्यवाद देता है। उसने उसे खर्च-पर्याप्ति, आत्म-सम्मान तथा समृद्धि को प्राप्त करने में सहायता की।
Questions For Practice
1. Why did the poet complain?
कवि ने शिकायत क्यों की?
2. Could he search a true friend? Why not?
क्या वह एक सच्चे दोस्त की तलाश कर पाया?
3. Why did the acquaintances become cold? What did they do to the poet?
कवि के परिचित उदासीन क्यों हो गए? उन्होंने कवि को क्या किया?
4. Why did the poet say ‘let them go?
कवि ने ऐसा क्यों कहा-‘उन्हें जाने दो।’
5. Who was the poet’s new friend now and how did his new friend help him?
कवि का नया दोस्त कौन था और किस प्रकार से उसने उनकी मदद की?
6. Why is ‘to trust to the world is to build castle on the sand?
दुनिया पर विश्वास करना रेत पर महल बनाने जैसा क्यों है?
7. What happened when the poet’s courage revived?
जब कवि के साहस को पुनर्जीवन मिला, तो क्या हुआ?
8. Who saved the poet from his sorrow and pain? How?
कवि के दुख-तकलीफों से किसने रक्षा की? कैसे?
9. Why did the poet’s friends who had deserted him earlier come back to him again?
कवि के जिन दोस्तों ने उसे अकेला छोड़ दिया था, वे क्यों पुनः उसके पास वापस आ गए?
10. Whom does the poet thank and trust in? Why?
कवि ने किसमें विश्वास जतलाया तथा उसे धन्यवाद दिया?
We hope the given RBSE Solutions for Class 10 English Literature Reader Poem Chapter 2 My Good Right Hand will help you. If you have any query regarding Rajasthan Board RBSE Class 10 English Solutions Literature Reader Poem Chapter 2 My Good Right Hand, drop a comment below and we will get back to you at the earliest.
Leave a Reply