Rajasthan Board RBSE Class 12 Maths Chapter 1 संयुक्त फलत Miscellaneous Exercise
प्रश्न 1.
यदि f : R → R, f(x) = 2x – 3; g : R → R, g(x) = x3 + 5 हो तब (fog)-1 (x) का मान होगा
हल :
दिया है,
f : R → R, f(x) = 2x – 3
g : R → R, g(x) = x³ + 5
∴ (fog)(x) = f[g(x)]
= f(x3 + 5)
= 2(x3 + 5) – 3
= 2x3 + 10 – 3
= 2x3 + 7
माना y = (fog)(x) = 2x3 + 7
∴ (fog)-1 (y) = x
अत: सही विकल्प (d) है।
प्रश्न 2.
यदि f(x) = \(\frac { x }{ 1-x } =\frac { 1 }{ y } \) तो f(y) का मान होगा
(a) 2x
(b) x – 1
(c) x + 1
(d) (1 – 3)
हल :
दिया है,
f(x) = \(\frac { x }{ 1-x } =\frac { 1 }{ y } \)
अत: उपर्युक्त विकल्पों में से में सही विकल्प कोई नहीं है।
प्रश्न 3.
यदि f(x) = \(\frac { x-3 }{ x+1 }\) हो, तो f[f{(x)}] बराबर है
(a) x
(b) 1/x
(c) -x
(d) -1/x
हल :
दिया है,
f(x) = \(\frac { x-3 }{ x+1 }\)
अत: सही विकल्प (a) है।
प्रश्न 4.
यदि f(x) = cos (log x) हो तो f(x) . f(y) – \(\frac { 1 }{ 2 }\)[f(x/y)] – f(x.y) बराबर है
(a) -1
(b) 0
(c) 1/2
(d) – 2
हल :
दिया है, f(x) = cos (log x)
∴ \(f(x).f(y)-\frac { 1 }{ 2 } \left[ f\left( \frac { x }{ y } \right) +f(x.y) \right] \)
= cos (log x) cos (log y) \(-\frac { 1 }{ 2 } \left[ cos\left( log\frac { x }{ y } \right) +cos(log\quad xy) \right] \)
= cos (log x) cos (logy) – \(\frac { 1 }{ 2 }\) [cos (logx – logy) + cos (logx + logy)]
= cos (log.x) cos (logy) – \(\frac { 1 }{ 2 }\) [2 cos (log x) cos (logy)]
= cos (log x) cos (logy) – cos (log x) cos (logy)
= 0
अतः विकल्प (b) सही है।
प्रश्न 5.
यदि f : R→ R, f(x) = 2x + 1 और g : R → R, g(x) = x3, तो (gof)-1(27) बराबर है
(a) 2
(b) 1
(c) -1
(d) 0
हल :
माना (gof)-1(27) = x
(gof)(x) = 27
g{f(x)} = 27
g{2x + 1} = 27
(2x + 1)³ = 27
2x + 1 = 271/3
2x + 1 = 33 x 1/3
2x + 1 = 3
∴ 2x = 2
⇒ x = 1
अतः विकल्प (b) सही है।
प्रश्न 6.
यदि f : R → R तथा g : R → R, जहां f(x) = 2x + 3 तथा g(x) = x² + 1 तब (gof)(2) का मान है
(a) 38
(b) 42
(c) 46
(d) 50
हल :
माना (gof)(2) = y
∴ y = g{f(2)}
= g{2 x 2 + 3}
= g(7)
= (7)² + 1
= 49 + 1
= 50
अतः सही विकल्प (d) है।
प्रश्न 7.
यदि समुच्चय Q0 पर एक संक्रिया *, a*b = ab/2, ∀a, b ∈ Q0, द्वारा परिभाषित की जाये तो इस संक्रिया का तत्सम अवयव है-
(a) 1
(b) 0
(c) 2
(d) 3
हल :
यदि e तत्समक अवयव हो तो।
a ∈ Q0 के लिए
a*e = a
⇒ \(\frac { ae }{ 2 }\) = a
⇒ e = 2
अतः विकल्प (c) सही है।
प्रश्न 8.
वास्तविक संख्याओं के समुच्चय R में एक द्विचरं संक्रिया a*b = 1 + ab, ∀ a, b ∈ R द्वारा परिभाषित है, तब संक्रिया * है
(a) क्रमविनिमेय पर साहचर्य नहीं
(b) साहचर्य पर क्रम-विनिमेय नहीं
(c) न साहचर्य न क़म-विनिमेय
(d) साहचर्य तथा क्रम-विनिमेय दोनों
हल :
दिया है, a*b = 1 + ab, ∀a, b ∈ R
क्रम-विनिमेयता : a*b = 1 + ab
= 1 + b.a
= b*a
∵ वास्तविक संख्याओं का समुच्चय क्रम-विनिमेय होता है।
अतः a*b = b*a
∴ * संक्रिया क्रमविनिमेय है।
साहचर्यता : (a*b)*c = (1 + ab)*c
= 1 + abc
a*(b*c) = a*(1 + bc)
= 1 – a( 1 + bc)
= 1 + a + abc
स्पष्ट है कि (a*b)*c* ≠ a*(b*c)
अतः * संक्रिया साहचर्य नहीं है।
अतः विकल्प (a) सही है।
प्रश्न 9.
पूर्णाकों के समुच्चय z के व्यवकलन (subtraction) एक ऐसी संक्रिया है जो
(a) क्रम-विनिमेय तथा साहचर्य है।
(b) साहचर्य परन्तु क्रम-विनिमेय नहीं
(c) न क़म-विनिमेय न साहचर्य
(d) क्रम-विनिमेय पर साहचर्य नहीं व्यवकलन की
उत्तर-
माना a, b ∈ Z
क्रम-विनिमेयता : अतः
a – b ≠ b – a
अर्थात् संक्रिया क्रमविनिमेय नहीं है।
साहचर्यता : (a – b) – c ≠ a – (b – c)
अत: व्यकलन की संक्रिया साहचर्य नहीं है।
विकल्प (c) सही है।
प्रश्न 10.
पूर्णाकों के समुच्चय Z में एक संक्रिया *, a*b = a + b – ab, ∀ a, b ∈ Z द्वारा परिभाषित है। इस संक्रिया के सापेक्ष किसी अवयव a(≠1) का प्रतिलोम है :
हल :
दिया है, a*b = a + b – ab, ∀ a, b ∈ Z
माना a ∈ Z यदि संभव हो, तो माना a का प्रतिलोम x है,
तब परिभाषा के अनुसार
a*x = 0 (∵ 0 तत्समक है)
a + x – ax = 0
x(1 – a) = – a
\(x=\frac { -a }{ 1-a }\)
= \(\frac { a }{ a-1 }\) ∈ Z (यदि a ≠ 1)
अतः विकल्प (a) सही है।
प्रश्न 11.
R में परिभाषित निम्न में से कौन सी संक्रिया क्रमविनिमेय
(a) a*b = a²b
(b) a*b = ab
(c) a*b = a – b + ab
(d) a*b = a + b + a²
हल :
(a) ∵ a*b = a²b तथा b*a = b²a
∴ a*b ≠ b*a
अतः संक्रिया क्रम विनमेयी नहीं है।
(b) ∵ a*b = ab तथा b*a = ba
∴ a*b ≠ b*a
अतः संक्रिया क्रम विनमेयी नहीं है।
(c) ∵ a*b = a – a + ab तथा b*a = b – a + ba
∴ a*b ≠ b*a
अतः संक्रिया क्रम विनमेयी नहीं है।
(d) ∵ a*b = a + b + a²b तथा b*b = b + a + b²a
∴ a*b ≠ b*a
अतः संक्रिया क्रम विनमेयी नहीं है।
अत: कोई भी संक्रिया क्राम विनमेयी नहीं है।
प्रश्न 12.
निम्न तीन फलनों के लिए संयुक्त फलन संक्रिया के लिये साहचर्य नियम का सत्यापन कीजिये
f : N → Z0, f(x) = 2x
g : Z0 → Q, g(x) = 1/x
h : Q → R, h(x) = ex
हल :
दिया है,
f : N → Z0
g : Z0 → Q
h : Q → R
ho(gof) : N → R तथा
(hog)of : N → R
इसी प्रकार ho(gof) तथा (hog)of के प्रान्त तथा सह-प्रान्त समान हैं; क्योंकि दोनों फलनों N से R में परिभाषित हैं; अत: सिद्ध करना है कि
[ho(gof)](x) = [(hog)of)](x) ∀ x ∈ N
अब [ho(gof)](x) = h[(gof)(x)]
= h[g{f(x)]
= h[g(2x)]
= \(h\left( \frac { 1 }{ 2x } \right) \)
[ho(gof)](x) = \({ e }^{ \frac { 1 }{ 2x } }\) ….(i)
पुनः [(hog)of](x) = (hog)f(x) = (hog)(2x)
= h[g(2x)]
= \(h\left( \frac { 1 }{ 2x } \right) \)
= \({ e }^{ \frac { 1 }{ 2x } }\)
[(hog)of](x) = \({ e }^{ \frac { 1 }{ 2x } }\) …..(ii)
समी. (i) और (ii) से,
(hog)of = ho(gof)
अतः फलन f, g, h की साहचर्यता सत्यापित होती है। इति सिद्धम्।
प्रश्न 13.
यदि f : R+ → R+ तथा g : R– → R– निम्न प्रकार परिभाषित हो कि f(x) = x², g(x) = √x, तो gof तथा fog ज्ञात कीजिये। क्या ये फलन तुल्य हैं?
हल :
दिया है f : R+ → R+, f(x) = x²
g : R+ → R+, g(x) = √x
तब (fog) : R+ → R+ एवं (gof) : R+ → R+ परिभाषित हैं।
∴ (gof)(x) = g[f(x)]
= g(x²) = √x² = x
(fog)(x) = f[g(x)]
= f(√x) = (√x)² = x
उपरोक्त के आधार पर (gof) तथा (fog) के प्रान्त, सह-प्रान्त समान हैं और
(fog)(x) = (gof)(x) ∀ x ∈ R+
अत: (fog) तथा (gof) तुल्य फलन हैं।
प्रश्न 14.
यदि f : R → R, f(x) = cos (x + 2) हो, तो ज्ञात कीजिये कि f प्रतिलोमी फलन है या नहीं, कारण सहित अपने उत्तर की पुष्टि कीजिये।
हल :
दिया गया फलन है,
f : R → R, f(x) = cos (x + 2)
x = 2π रखने पर।
f(2π) = cos (2π + 2)
= cos (2)
x = 0 रखने पर
f(0) = cos (0 + 2)
= cos 2
यहाँ 0 व 2π के लिए एक ही प्रतिबिम्ब प्राप्त होता है। इसलिए फलन एकैकी नहीं है। इस प्रकार फलन एकैकी आच्छादक नहीं है।
अत: f-1 : R → R विद्यमान नहीं हो सकता।
प्रश्न 15.
यदि A = {-1, 1} तथा A में परिभाषित दो फलन f तथा g हैं जहाँ f(x) = x², g(x) = sin \(\left( \frac { \pi x }{ 2 } \right) \), तो सिद्ध कीजिये कि g-1 विद्यमान है जबकि f-1 भी ज्ञात कीजिये।
हले :
दिया है, A = {- 1, 1}
f(x) = x², g(x) = sin \(\left( \frac { \pi x }{ 2 } \right) \)
एकैकी/बहुएकी : f : A → A, f(x) = x²
f(- 1) = f(1) = 1
⇒ – 1 और 1 का प्रतिबिम्ब भिन्न नहीं है।
अतः एकैकी नहीं है।
आच्छादक/अन्तःक्षेपी : साथ ही सह-प्रान्त में ऐसे अवयव हैं जो प्रान्त के किसी अवयव के प्रतिबिम्ब नहीं हैं।
अतः f आच्छादक नहीं है।
इसलिये फलन f एकैकी और आच्छादक नहीं है। अतः f-1 विद्यमान नहीं है।
इसी प्रकार g(x) = sin \(\left( \frac { \pi x }{ 2 } \right) \) के लिये
एकैकी/बहुएकी : माना x1, x2, ∈ A इस प्रकार है कि
f(x1) = f(x2)
अतः फलन एकैकी है।
साथ ही माना y ∈ R (सह-प्रान्त)यदि सम्भव हो, तो y का पूर्व प्रतिबिम्ब प्रान्त R में x है, तब
g(x) = y
चूँकि y के प्रत्येक मान को पूर्व प्रतिबिम्ब प्रान्त R में विद्यमान है।
इसलिए g(x) आच्छादक फलन है।
अत: g(x) एकैकी आच्छादक फलन है इसलिए g-1विद्यमान है।
प्रश्न 16.
यदि f : R → R तथा g : R → R ऐसे फलन हैं कि f(x) = 3x +4 तथा g(x) = \(\frac { x-4 }{ 3 }\) , तो (fog)(x) तथा (gof)(x) ज्ञात कीजिये। साथ ही (gog)(1) का मान ज्ञात कीजिये।
हल :
दिया है,
f : R → R, f(x) = 3x + 4
g : R → R, g(x) = \(\frac { x-4 }{ 3 }\)
∴ (fog)(x) = f[g(x)]
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